अमरीका ने ईरान के चाबहार बंदरगाह पर प्रतिबंधों से भारत को छह महीने की छूट दी है। आज नई दिल्ली में संवाददाताओं से बातचीत में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने बताया कि भारत को प्रतिबंधों से छह महीने की छूट मिली है। यह छूट 29 अक्तूबर से प्रभावी हो गई है। प्रवक्ता ने इस बात की भी पुष्टि की कि कुछ भारतीय कम्पनियों को चीन से दुर्लभ खनिजों के आयात के लिए लाइसेंस मिला है।
विदेश मंत्रालय ने कहा है कि भारत व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने के लिए अमरीका के साथ लगातार संपर्क में है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने आज नई दिल्ली में मीडिया से कहा कि दोनों पक्ष इस मुद्दे पर विचार-विमर्श कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि भारतीय पक्ष रूसी तेल कम्पनियों पर हाल के अमरीकी प्रतिबंधों के असर का भी अध्ययन कर रहा है। उन्होंने कहा कि भारत अपने निर्णय में वैश्विक बाजार में उभरती स्थितियों को भी ध्यान में रखेगा।
उन्होंने कहा कि विभिन्न स्रोतों से ऊर्जा आपूर्ति के सवाल पर भारत की स्थिति स्पष्ट है। एक अरब 40 करोड़ लोगों के लिए विभिन्न स्रोतों से किफायती ऊर्जा सुनिश्चित करना आवश्यक है। पाकिस्तान -अफगानिस्तान तनाव के प्रश्न पर श्री जायसवाल ने कहा कि पाकिस्तान, अफगानिस्तान की सम्प्रभुता को लेकर आक्रोश में है।
उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि पाकिस्तान सीमा पार आतंकवाद को बढा़वा देना अपना अधिकार मानता है। उन्होंने कहा कि भारत, अफगानिस्तान की स्वतंत्रता, सम्प्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता के लिए प्रतिबद्ध है। एक अन्य प्रश्न पर श्री जायसवाल ने कहा कि भारत सतत जल प्रबंधन में अफगानिस्तान की पूरी मदद के लिए तैयार है।
उन्होंने कहा कि हेरात सूबे में सलमा बांध सहित दोनों देशों के बीच सहयोग का लम्बा इतिहास रहा है। क्वाड संगठन के बारे में एक सवाल पर श्री जायसवाल ने कहा कि यह विभिन्न क्षेत्रों में साझा हितों पर विचार-विमर्श का महत्वपूर्ण मंच है। उन्होंने कहा कि कोई भी शिखर सम्मेलन क्वाड के चारों साझेदारों के बीच राजनयिक परामर्श के बाद ही निर्धारित होता है।
 
									