भारत-सिंगापुर मंत्रिस्तरीय गोलमेज सम्मेलन का तीसरा दौर आज नई दिल्ली में आयोजित हुआ। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर, वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल, रेल और सूचना तथा प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव के साथ गोलमेज सम्मेलन का नेतृत्व किया। सिंगापुर के प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व वहां के उप प्रधानमंत्री और व्यापार तथा उद्योग मंत्री गान किम यंग ने किया।
केंद्रीय मंत्री डॉ. एस. जयशंकर, निर्मला सीतारमण, अश्विनी वैष्णव और पीयूष गोयल ने इस गोलमेज सम्मेलन में भाग लिया। सिंगापुर के जिन मंत्रियों ने इसमें भाग लिया, उनमें सिंगापुर के उप प्रधानमंत्री गान किम योंग और विदेश मंत्री जोसेफिन टीओ शामिल थे। डॉ. जयशंकर ने भारत-सिंगापुर व्यापक रणनीतिक साझेदारी को मज़बूत करने के लिए उनकी प्रतिबद्धता के लिए उनका धन्यवाद किया। उन्होंने कहा कि भारत-सिंगापुर मंत्रिस्तरीय गोलमेज सम्मेलन में प्रतिनिधिमंडल के साथ उपयोगी बातचीत हुई। डॉ. जयशंकर ने कहा कि सरकार और उद्योग के बीच तालमेल भारत-सिंगापुर संबंधों के अगले चरण की शुरुआत के लिए महत्वपूर्ण है। वित्त मंत्रालय ने एक सोशल मीडिया पोस्ट में कहा कि बैठक के दौरान, मंत्रियों ने याद दिलाया कि 2024 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सिंगापुर यात्रा के दौरान द्विपक्षीय संबंधों को एक व्यापक रणनीतिक साझेदारी तक बढ़ा दिया गया है। दोनों पक्षों ने भारत–सिंगापुर मंत्रिस्तरीय गोलमेज सम्मेलन के तहत पहचाने गए छह स्तंभों पर विचार–विमर्श किया। इनमें डिजिटीकरण, कौशल विकास, स्थिरता, स्वास्थ्य सेवा तथा चिकित्सा, उन्नत विनिर्माण और कनेक्टिविटी शामिल हैं।
विदेश मंत्रालय ने कहा है कि मंत्रिस्तरीय गोलमेज सम्मेलन भारत-सिंगापुर सहयोग के लिए नया एजेंडा निर्धारित करने का एक अनूठा तंत्र है। भारत और सिंगापुर एक व्यापक रणनीतिक भागीदारी साझा करते हैं और मंत्रिस्तरीय गोलमेज सम्मेलन का तीसरा दौर हमारे द्विपक्षीय संबंधों को और व्यापक तथा गहन बनाने के अवसरों की पहचान करेगा।