केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री जगत प्रकाश नड्डा ने घोषणा की है कि सरकार अगले पांच वर्ष में चिकित्सा शिक्षा में 75 हजार नई सीटें बढ़ाने पर विचार कर रही है। श्री नड्डा आज नई दिल्ली के भारत मण्डपम में अंतर्राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्रौद्योगिकी मूल्यांकन संगोष्ठी के उद्घाटन सत्र को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि वर्ष 2014 के बाद से देश में मेडिकल कॉलेजों की संख्या में एक सौ एक प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
इसके अलावा 22 अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थानों का शुभारंभ हुआ है। उन्होंने अर्द्धचिकित्सा कर्मियों, नर्सों और अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित करके स्वास्थ्य देखभाल क्षेत्र को मजबूत करने की सरकार की प्रतिबद्धता का उल्लेख किया।
स्वास्थ्य मंत्री ने विश्व की सबसे बडी स्वास्थ्य बीमा योजना- आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना की सफलता का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि देश की लगभग चालीस प्रतिशत आबादी इस योजना से लाभान्वित है। उन्होंने विशेषज्ञों, नवाचारियों और शोधकर्ताओं से स्वास्थ्य प्रौद्योगिकी मूल्यांकन को बढावा देने का आग्रह किया।
श्री नड्डा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में स्वास्थ्य देखभाल सरकार की प्राथमिकता रही है। उन्होंने प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल को बढावा देने में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत एक लाख 75 हजार से अधिक आरोग्य आयुष मंदिरों की महत्वपूर्ण भूमिका की सराहना की।
कार्यक्रम के दौरान श्री नड्डा ने भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के स्वास्थ्य प्रौद्योगिकी आकलन तकनीकी सार संग्रह की भी शुरूआत की।
कार्यक्रम में सांसद बांसुरी स्वराज ने नीति आयोग के सदस्य वी. के. पॉल और स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय में सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव भी उपस्थित थी।