सरकार ने कहा है कि वह देश में रेल दुर्घटनाओं को रोकने के लिए प्रतिबद्ध है और यू पी ए शासन की तुलना में दुर्घटनाओं में 68 प्रतिशत की कमी आई है। आज लोकसभा में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने अपने मंत्रालय की अनुदान मांगों पर चर्चा के जवाब में कहा कि यू पी ए शासन के दौरान रेल दुर्घटनाओं का वार्षिक औसत एक सौ 71 था। उन्होंने कहा कि सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए और अधिक प्रयास किये जाने की आवश्यकता है।
श्री वैष्णव ने कहा कि 2022-23 में सुरक्षा पर 87 हजार करोड रूपये से अधिक खर्च किये गये। सुरक्षा पर खर्च पिछले वित्तीय वर्ष में बढकर 98 हजार करोड रूपये से अधिक हो गया। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि इस साल के बजट में सुरक्षा उपायों के लिए एक लाख 8 हजार करोड रूपये से अधिक का आवंटन किया गया है। उन्होंने कहा कि देश के पास स्वचालित रेल सुरक्षा प्रणाली कवच को व्यापक पैमाने पर लगाने के लिए पर्याप्त मानव संसाधन और क्षमताएं हैं।
रेलवे के विकास पर की गई पहलों के बारे में श्री वैष्णव ने कहा कि 10 हजार अतिरिक्त जनरल कोच तैयार किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार ने 50 और अमृत भारत ट्रेनों के निर्माण का फैसला किया है। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि छोटी दूरी की यात्रा की सुविधा के लिए जल्द ही वंदे मेट्रो शुरू की जाएगी। उन्होंने कहा कि 10 वर्षों में 44 हजार किलोमीटर रेलवे लाइनों का विद्युतीकरण किया गया है।
रेलवे में भर्तियों के बारे में श्री वैष्णव ने बताया कि 2014 के बाद से पांच लाख से अधिक भर्तियां की गई हैं, जबकि यूपीए शासन के दौरान चार लाख 11 हजार भर्तियां की गई थी। उन्होंने कहा कि इस साल से रेलवे भर्ती के लिए एक वार्षिक कैलेंडर भी शुरू किया गया है। रेल मंत्री ने लोको पायलटों के लिए बुनियादी सुविधाओं की कमी के आरोपों पर कहा कि 2014 से पहले रनिंग रूम बहुत खराब स्थिति में थे लेकिन अब लगभग सभी पांच सौ 58 रनिंग रूम वातानुकूलित हैं। श्री वैष्णव के जवाब से असंतुष्ट विपक्ष ने उनके भाषण के दौरान सदन में हंगामा किया।