नई दिल्ली के राष्ट्रपति भवन में सांस्कृतिक केंद्र और अमृत उद्यान में बलुआ पत्थर से बने कोणार्क पहियों की चार प्रतिकृतियां स्थापित की गई हैं। इसका उद्देश्य आगंतुकों के बीच देश की समृद्ध विरासत को प्रदर्शित करना और बढ़ावा देना है।
यह पहल राष्ट्रपति भवन में पारंपरिक सांस्कृतिक और ऐतिहासिक महत्व को पेश करने के लिए उठाए जा रहे कई कदमों का हिस्सा है।
यूनेस्को विश्व धरोहर स्थल, कोणार्क सूर्य मंदिर, ओडिशा के मंदिर वास्तुकला की अनोखी कलाकृति है। कोणार्क के पहिये भारत की सांस्कृतिक विरासत के प्रतीक हैं।