सर्वोच्च न्यायालय ने हिमाचल प्रदेश में संसदीय सचिव नियुक्त किये गए 6 विधायकों के खिलाफ अयोग्यता कार्रवाई शुरू करने के हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय के आदेश पर आज अगली सुनवाई तक रोक लगा दी।
इससे पहले, उच्च न्यायालय ने वर्ष 2006 के उस कानून को रद्द कर दिया था, जिसमें राज्य सरकार को विधानसभा के विधायकों को संसदीय सचिवों के रूप में नियुक्त करने की अनुमति थी। उच्च न्यायालय का मानना था कि इस तरह की नियुक्ति लाभ के पद के बराबर होगी इसलिए विधायक अयोग्य घोषित किए जा सकते हैं।
सर्वोच्च न्यायालय ने आदेश दिया है कि इस बीच विधायकों की सचिवों के रूप में कोई नियुक्ति नहीं होनी चाहिए।