हथकरघा निर्यात संवर्धन परिषद के संयुक्त निदेशक डॉक्टर सुंदर मुरुगेशन ने कहा है कि सरकार हथकरघा वस्तुओं को प्राथमिकता दे रही है और वर्ष 2030 तक इसके उत्पादन में तीन गुणा वृद्धि का लक्ष्य है। तमिलनाडु वस्त्र उत्पादन केन्द्र कुल रोज़गार का 28 प्रतिशत योगदान करता है। कोयम्बटूर, त्रिपुर, करुर, इरोड और सेलम वस्त्र उत्पादन के अलग-अलग केन्द्र हैं। आकाशवाणी के साथ बातचीत में उन्होंने कहा कि भारत लम्बे समय से ब्रिटेन का पसंदीदा देश है और इसी कारण से उसके साथ मुक्त व्यापार समझौता हुआ है।
तमिलनाडु में कालीन, बुने हुए वस्त्र, फर्श कवरिंग जैसे तैयार उत्पादों के क्षेत्र में एक अरब 20 करोड़ अमेरिकी डॉलर का कारोबार है। वर्ष 2030 तक इसके बढ़कर पाँच अरब अमरीकी डॉलर होने की संभावना है। तमिलनाडु देश का अग्रणी वस्त्र निर्माण केंद्र है और वस्त्र क्षेत्र में उसका कुल रोजगार का 28 प्रतिशत योगदान है।