सर्वोच्च न्यायालय ने केंद्र को निर्देश दिया है कि वह भीषण गर्मी और पानी की भारी मांग के बीच राजधानी में जल संकट से निपटने के लिए दिल्ली, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश के साथ ऊपरी यमुना नदी बोर्ड की आपात बैठक आयोजित करे। न्यायमूर्ति पी के मिश्रा और न्यायमूर्ति के वी विश्वनाथन की अवकाशकालीन पीठ ने यह बैठक पांच जून को करने का निर्देश दिया है। पीठ ने इस मामले की अगली सुनवाई 6 जून को निर्धारित करते हुए कहा कि बैठक की कार्रवाई और सभी संबंधित राज्यों द्वारा सुझाए गए उपायों की जानकारी भी पीठ के समक्ष रखी जाए।
सर्वोच्च न्यायालय में पिछले हफ्ते दाखिल दिल्ली सरकार की उस याचिका पर सुनवाई हो रही थी जिसमें वजीराबाद बैराज के माध्यम से हिमाचल प्रदेश का अतिरिक्त जल छोडे जाने के लिए हरियाणा सरकार को निर्देश देने का अनुरोध किया था। इस याचिका में दिल्ली सरकार ने हिमाचल प्रदेश के साथ हुई व्यवस्था का उल्लेख किया था जिसमें हिमाचल प्रदेश का अतिरिक्त जल दिल्ली को देने पर सहमति हुई थी। लेकिन दिल्ली के साथ हिमाचल प्रदेश की सीमा न होने के कारण इस जल को वजीराबाद बैराज के माध्यम से छोडा जाना चाहिए।