संचार साथी एप की बढ़ती स्वीकार्यता को देखते हुए सरकार ने मोबाइल फोन निर्माता कंपनियों के लिए इस एप को पहले से इन्सटॉल करने को अनिवार्य नहीं बनाने का फैसला लिया है।
सरकार ने स्पष्ट किया है कि नागरिक जब चाहे इस एप को हटा सकते हैं और इस एप का उपायोगकर्ताओं की सुरक्षा के अलावा और कोई कार्य नहीं है। संचार मंत्रालय ने एक बयान में बताया है कि अब तक एक करोड़ चालीस लाख उपयोगकर्ताओं ने इस एप को डाउनलोड किया है और प्रतिदिन धोखाधड़ी से जुडी दो हजार घटनाएं सामने आ रही हैं।
मंत्रालय ने कहा है कि यह एप सुरक्षित है और इसका उद्देश्य साइबर अपराध से लोगों को बचाना है।