भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने सुक्खू सरकार द्वारा हाल ही में बिजली बोर्ड के 51 इंजीनियरिंग पदों और 81 चालकों की सेवाओं को समाप्त करने के फैसले की कड़ी आलोचना की है।
उन्होंने इस फैसले को प्रदेश के निष्ठावान कर्मचारियों के प्रति क्रूर और असंवेदनशील कदम करार दिया। गोविंद सिंह ठाकुर ने कहा कि वर्षों से प्रदेश की सेवा कर रहे इन कर्मचारियों के साथ यह व्यवहार अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के विकास में अपना योगदान देने वाले इन कर्मचारियों और युवाओं के साथ धोखा है।
वहीं, ठाकुर ने कांग्रेस सरकार पर तीखा हमला करते हुए कहा कि जिन गारंटियों के दम पर सत्ता हथियाई थी वह अब सुविधाएं छीनने में लगी है। बिजली दरों में 19% तक के सेस के इजाफे और 125 यूनिट की निशुल्क बिजली योजना को समाप्त करना अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है।
भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने कहा कि सुक्खू सरकार ने व्यवस्था परिवर्तन का नारा दिया था, लेकिन आज जो हालात हैं, वे ‘व्यवस्था पतन’ का स्पष्ट उदाहरण हैं।यह सरकार हर मोर्चे पर विफल साबित हो रही है।उन्होंने सरकार से आग्रह किया कि वह अपने फैसले पर पुनर्विचार करे और इन कर्मचारियों को तुरंत बहाल करे।
उन्होंने कहा कि सुक्खू सरकार का यह कदम न केवल असंवेदनशील है, बल्कि प्रदेश की जनता और कर्मचारियों के भरोसे का भी हनन है। ठाकुर ने कहा कि भाजपा उनके साथ खड़ी है और हर मंच पर उनके हक की आवाज़ बुलंद करेगी।