केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि कृषि देश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ है और किसानों का कल्याण सरकार की प्राथमिकता है। लोकसभा में आज वर्ष 2025-26 के लिए के लिए कृषि मंत्रालय की अनुदान मांगों पर चर्चा का उत्तर देते हुए श्री चौहान ने कहा कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार ने पिछले दस वर्षों में कृषि क्षेत्र के लिए बजट में दस लाख करोड़ रुपये से अधिक का आवंटन किया है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2004 से 2014 के दौरान यूपीए शासन के दस वर्षों में कुल बजट आवंटन केवल एक लाख 51 हजार करोड़ रुपये ही था। कृषि मंत्री ने बताया कि सरकार प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के अंतर्गत 80 करोड़ से अधिक लाभार्थियों को मुफ्त चावल और गेहूं उपलब्ध करा रही है।
श्री चौहान ने कहा कि देश में अनाज उत्पादन वर्ष 2013-14 के 26 करोड 50 लाख टन से बढ़कर 33 करोड टन से अधिक हो गया है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2004 से 2014 तक 45 करोड़ 90 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा गया। श्री चौहान ने कहा कि मोदी सरकार ने अब तक 75 करोड़ 74 लाख मीट्रिक टन न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान की खरीद की है। कृषि मंत्री ने कहा कि डिजिटल एग्री मिशन के अंतर्गत देश के हर किसान को एक डिजिटल पहचान पत्र प्रदान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस पहल से किसान विभिन्न सरकारी योजनाओं का लाभ ले सकते हैं। श्री चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना प्राकृतिक आपदाओं से फसल को हुए नुकसान से व्यापक सुरक्षा प्रदान करती है। बाद में सदन ने 2025-26 के लिए कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय की मांगों और अनुदानों को स्वीकृति दे दी।
इससे पहले, चर्चा के शुरु में समाजवादी पार्टी के धर्मेंद्र यादव ने देश में किसानों की दुर्दशा पर बात की। उन्होंने कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने का वादा पूरा नहीं किया गया।
कांग्रेस के जय प्रकाश ने कहा कि पिछले दस वर्षों में चावल और गेहूं के न्यूनतम समर्थन मूल्य में केवल एक हजार रुपये की वृद्धि हुई है। उन्होंने सरकार से कृषि ऋण माफ करने की मांग की।
भाजपा के दुष्यंत सिंह ने कहा कि केंद्रीय बजट में सरकार ने कृषि और किसान कल्याण क्षेत्र के लिए एक लाख 37 हजार करोड़ रुपये से अधिक राशि का आवंटन किया है, जो कुल केंद्रीय बजट का लगभग दो दशमलव सात प्रतिशत है। उन्होंने कहा कि कृषि क्षेत्र में अनुसंधान और विकास के लिए दस हजार करोड़ रुपये से अधिक का आवंटन किया गया है। श्री सिंह ने कहा कि सरकार ने किसानों को अपनी फसल बेचने के लिए बाजार तक पहुंच और अच्छी गुणवत्ता वाले बीज उपलब्ध कराए हैं।