राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने उत्कल केसरी डॉ. हरेकृष्ण महताब को श्रद्धांजलि अर्पित की है। आज नई दिल्ली में डॉ. हरेकृष्ण महताब की 125वीं जयंती के उद्घाटन समारोह में राष्ट्रपति ने डॉ. महताब के सम्मान में विशेष स्मारक टिकट और सिक्का जारी करने पर प्रसन्नता व्यक्त की। राष्ट्रपति ने कहा कि वे हमेशा डॉ. हरेकृष्ण महताब के लेखन और भाषणों से प्रेरित रही हैं।
राष्ट्रपति मुर्मु ने स्वतंत्रता संग्राम और ओडिशा के गांवों में गांधीवादी विचार और दर्शन का प्रसार करने में डॉ. हरेकृष्ण महताब की भूमिका और सक्रिय योगदान के बारे में विस्तार से बताया । उन्होंने कहा कि भारत के एकीकरण में उन्होंने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। राष्ट्रपति ने उनके नेतृत्व और राष्ट्रवाद के विचारों की सराहना की।
डॉ. हरेकृष्ण महताब का जन्म 21 नवंबर 1899 को ओडिशा के अगरपाड़ा में हुआ था। उन्हें स्वतंत्रता सेनानी, राजनीतिज्ञ, इतिहासकार, लेखक, समाज सुधारक और पत्रकार के रूप में जाना जाता है। डॉ. महताब को उनकी दृढ़ इच्छाशक्ति और संकल्प के लिए याद किया जाता है।