नवम्बर 20, 2025 10:01 अपराह्न

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विधेयकों को मंजूरी देने के लिए राष्‍ट्रपति और राज्‍यपालों पर समयसीमा लागू नहीं की जा सकती: सर्वोच्‍च न्‍यायालय

 सर्वोच्‍च न्‍यायालय ने कहा है कि संविधान के अंतर्गत विधेयकों को स्‍वीकृति देने के राष्ट्रपति और राज्यपाल के निर्णयों के लिए न्यायालय कोई समय-सीमा तय नहीं कर सकता। सर्वोच्च न्यायालय ने राज्य विधानसभाओं से पारित विधेयकों पर कार्रवाई के लिए राष्ट्रपति और राज्यपालों पर समय-सीमा तय करने के बारे में अपना परामर्श दिया है।

 सर्वोच्‍च न्‍यायालय के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई की अध्यक्षता वाली संवैधानिक पीठ ने संविधान के अनुच्छेद 143 के अंतर्गत राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु के भेजे गए 13 प्रश्‍नों के उत्‍तर में यह परामर्श जारी किया। राष्‍ट्रपति ने पूछा था कि क्या राज्यपाल और राष्ट्रपति के राज्य विधेयकों को मंज़ूरी देने के लिए समय-सीमा तय की जा सकती है या नहीं।

सर्वोच्च न्यायालय ने तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल और केरल राज्यों के राष्ट्रपति के संदर्भ की स्वीकार्यता के संबंध में उठाई गई प्रारंभिक आपत्तियों को स्वीकार करने से इनकार कर दिया। न्‍यायालय ने कहा कि इसमें उठाए गए मुद्दे संवैधानिक व्‍यवस्‍था के मूल और आधारभूत स्‍वरूपों से संबंधित हैं।

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