राज्य विधान सभा में लगातार दूसरे दिन भी नर्सिग घोटाले पर हंगामा हुआ। प्रमुख विपक्षी दल कांग्रेस द्वारा मध्यप्रदेश के नर्सिंग कालेजों को नियम विरूद्ध मान्यता दिये जाने के मुद्दे पर आज सदन में चर्चा कराई गई। विपक्ष की ओर से मांग की गई बड़े पैमाने पर हुए इस भ्रष्टाचार में लिप्त जाने वाले लोगों के साथ ही तत्कालीन लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री के खिलाफ भी कार्यवाही की जाये।
उन्होंने उच्च न्यायालय के वर्तमान किसी न्यायाधीश की अध्यक्षता में या सदन की समिति गठित कर पूरे मामले की जांच कराये जाने और परीक्षा से वंचित छात्रों को अन्य कालेजों से परीक्षा देने का अवसर प्रदान करने का सुझाव भी दिया।
लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री राजेन्द्र शुक्ल ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव पर दिए गए अपने जवाब में माना कि नर्सिंग कालेजों के मामले में गड़बड़ी हुई है। उन्होंने कहा कि उच्च न्यायालय में यह मामला विचाराधीन है, न्यायालय के निर्देश पर संबंधितों के खिलाफ कार्यवाही की गई है।