बांग्लादेशी सेना ने कहा है कि अंतर्राष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण-आईसीटी द्वारा गुमशुदगी और मानवता के विरुद्ध अपराधों में संलिप्तता के लिए 15 अधिकारियों के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी कर उन्हें हिरासत में ले लिया है। 
मेजर जनरल मोहम्मद हकीमुज्जमां ने कहा है कि हिरासत में लिए गए लोगों में 14 वर्तमान में सेवारत अधिकारी हैं और एक सेवानिवृत्ति तक अवकाश-एलपीआर पर हैं। मेजर जनरल कबीर नामक एक अन्य अधिकारी ने सेना के नोटिस का जवाब नहीं दिया है और उनका कोई पता नहीं चल पाया है।आईसीटी ने बुधवार को अवामी लीग सरकार के दौरान विपक्षी नेताओं के लापता होने और उन्हें प्रताड़ित करने से जुड़े दो अलग-अलग मामलों में 30 व्यक्तियों के खिलाफ वारंट जारी किए। 
मेजर जनरल हकीमुज्जमां ने कहा कि 30 आरोपियों में से 25 वर्तमान या पूर्व सैन्य अधिकारी हैं। उन्होंने कहा कि बांग्लादेश की सेना मानवता के विरुद्ध अपराधों, जिनमें गुमशुदगी और हत्याएँ शामिल हैं, की उचित सुनवाई चाहती है और न्याय, निष्पक्षता और जवाबदेही के लिए प्रतिबद्ध हैं। मेजर जनरल ने कहा कि सेना को अभी तक आईसीटी आरोपपत्र की आधिकारिक प्रति नहीं मिली है और ये गिरफ़्तारियां मीडिया और सोशल मीडिया रिपोर्टों से मिली जानकारी पर आधारित थीं।
		 
									 
		 
									 
									 
									 
									