कल विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर भूमि को हरा-भरा बनाने, मरुस्थलीकरण रोकने और सूखा जैसी वैश्विक समस्याओं के साथ निपटने हेतु पर्यावरण प्रबंधन के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराई है। हरित पहल को अपनाते हुए भारतीय नौसेना ने नवीकरणीय ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए भी महत्वपूर्ण उपाय किए हैं।
भारतीय नौसेना मिष्टी कार्यक्रम के तहत पेड़ और मैंग्रोव रोपण, समुद्री शैवाल की खेती और मूंगा चट्टान सर्वेक्षण जैसी परियोजनाओं के माध्यम से सरकारी निकायों और पर्यावरण के प्रति जागरूक फर्मों के साथ अपना सहयोग जारी रखे हुए है।
एचसीएल फाउंडेशन और द हैबिटेट्स ट्रस्ट के साथ नौसेना की साझेदारी तटीय पारिस्थितिकी तंत्र के कायाकल्प और समुद्री प्रजातियों के संरक्षण पर केंद्रित है। ‘लाइफस्टाइल फॉर एनवायरनमेंट’ पहल के समर्थन में सौर ऊर्जा को अपनाना, ई-वाहन को बढ़ावा देना, जल संरक्षण और नई इमारतों के लिए जीआरआईएचए-थ्री अनुपालन जैसे प्रयास शामिल हैं।
पुनीत सागर अभियान का उद्देश्य प्लास्टिक अपशिष्ट प्रबंधन पर जोर देना है। हाइड्रोजन एस्पिरेशन और डीजल उत्सर्जन कम करने वाले उपकरणों जैसी नवीन तकनीकों का परीक्षण किया जा रहा है जो भारतीय नौसेना की हरित पदचिह्न के साथ ब्लू वॉटर फोर्स के रूप में भूमिका को मजबूती प्रदान करता है।