दिसम्बर 11, 2025 10:45 पूर्वाह्न

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गृह मंत्री अमित शाह ने लोकसभा में दोहराया कि वे घुसपैठियों को देश में राजनीतिक नेतृत्व तय करने की अनुमति नहीं देंगे

चुनावी सुधारों और मतदाता सूची से जुडी विशेष गहन पुर्निक्षण-एस.आई.आर. पर कल लोकसभा में ज़ोरदार बहस हुई। गृह मंत्री अमित शाह ने विपक्ष पर अपने वोट बैंक को सुरक्षित करने के लिए अवैध प्रवासियों को बचाने का आरोप लगाया।

उन्होंने कहा कि घुसपैठिए यह तय नहीं कर सकते कि देश में प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री कौन होगा। श्री शाह ने कहा कि एस.आई.आर. का मकसद मतदाता का कई जगहों से नाम हटाना और अवैध प्रवासियों के नाम हटाकर मतदाता सूची को ठीक करना है।

उन्होंने कहा कि हालांकि एक ही व्यक्ति का नाम कई जगहों पर होना एक असली गलती हो सकती है, लेकिन ऐसी डुप्लीकेशन की अनुमति देने से चुनावों की विश्वसनीयता कम होती है।

श्री शाह ने कहा कि देश को फिर से बांटने के लिए भोगोलिक परिवर्तन की अनुमति नहीं दी जा सकती। उन्होंने 2 हजार दो सौ 16 किलोमीटर लंबी बांग्लादेश सीमा पर लगातार घुसपैठ पर भी ज़ोर दिया।

श्री शाह ने तृणमूल कांग्रेस और कांग्रेस जैसी पार्टियों पर “घुसपैठियों को बचाने की राजनीति” करने का आरोप लगाते हुए कहा कि वोटर उन्हें बैलेट बॉक्स में जवाबदेह ठहराएंगे।

गृह मंत्री ने सरकार की “पता लगाओ, हटाओ और देश से निकालो” की नीति को दोहराते हुए कहा कि अवैध प्रवासियों को मतदाता सूची में मान्यता नहीं दी जाएगी।

श्री शाह ने कहा कि एस.आइ.आर. का मकसद किसी भी समुदाय को निशाना बनाना नहीं है, बल्कि लोकतंत्र की रक्षा करना तथा स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करना है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कल लोकसभा में चुनाव सुधार पर हुई चर्चा के दौरान गृह मंत्री अमित शाह के भाषण की सराहना की है।

एक सोशल मीडिया पोस्ट में प्रधानमंत्री ने कहा कि श्री शाह ने ठोस तथ्यों के साथ देश की चुनावी प्रक्रिया के विभिन्न पहलुओं और भारतीय लोकतंत्र की ताकत को उजागर करते हुए विपक्ष के कथित झूठ का पर्दाफाश किया।

गृह मंत्री ने अपने भाषण में एस.आई.आर को मतदाता सूची का शुद्धिकरण बताया और पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के कार्यकाल में वर्ष 1952 में हुए पहले चुनावी पुनरीक्षण का जिक्र किया था।