ग्लोबल रेटिंग एजेंसी एस एंड पी ने भारत की अर्थव्यवस्था को स्थिर से सकारात्मक दिशा में बढ़ते हुए दर्शाया है। एजेंसी ने उम्मीद जताई है कि सरकार चुनाव परिणामों की चिंता किये बिना आर्थिक सुधारों और राजकोषीय नीतियों में निरंतरता बनाए रखेगी।
26 सितंबर 2014 से एजेंसी ने भारत की अर्थव्यवस्था को स्थिर बताया था। 10 वर्षों के अंतराल के बाद एजेन्सी ने अपने दृष्टिकोण में सकारात्मक बदलाव किया है।
तेजी से होता आर्थिक विकास, सरकारी खर्च की गुणवत्ता में स्पष्ट सुधार, राजकोषीय समेकन के लिए राजनीतिक प्रतिबद्धता, अगले तीन वर्षों में सकल घरेलू उत्पाद का वार्षिक सात प्रतिशत के करीब विस्तार, भारत में बुनियादी ढांचे और संपर्क में सुधार, सामान्य सरकारी घाटा वर्ष 2025 में 7 दशमलव 9 प्रतिशत से कम होकर 6 दशमलव 8 प्रतिशत तक होने की उम्मीद सकारात्मक दृष्टिकोण के प्रमुख कारण हैं।