भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने कल रात स्पेस डॉकिंग एक्सपेरिमेंट (SPADEX) मिशन का सफल प्रक्षेपण किया। श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से इसरो के पीएसएलवी-सी60 रॉकेट को दो अंतरिक्षयानों के साथ प्रक्षेपित किया गया। इससे अंतरिक्ष में डॉकिंग के प्रदर्शन में सहायता मिलेगी। पीएसएलवी-सी60 रॉकेट ने एसडीएक्स-01 यानी चेज़र और एसडीएक्स-02 यानी टारगेट के नाम के दो उपग्रहों को पृथ्वी की निचली कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित कर दिया। यह दोनों उपग्रह अगले दस दिनों में अंतरिक्ष में डॉकिंग का उद्देश्य पूरा करने के लिए आगे बढ़ाए जाएंगे। SPADEX मिशन का लक्ष्य अंतरिक्ष में डॉकिंग की क्षमता की उन्नत प्रौद्योगिकी का प्रदर्शन करना है जो चंद्र अभियान और भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन जैसे भविष्य के कार्यक्रमों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। SPADEX मिशन कक्षा में डॉकिंग की भारत की क्षमताओं को आगे बढ़ाने की दिशा में एक अहम कदम को दर्शाता है। इसके सफलतापूर्वक संपन्न होने से जटिल अंतरिक्ष कार्यक्रमों के संचालन के लिए इसरो की क्षमता में वृद्धि होगी और भविष्य में दूसरे ग्रहों के मिशन के लिए जमीन तैयार होगी।
🚀 𝐏𝐒𝐋𝐕-𝐂𝟔𝟎/𝐒𝐏𝐀𝐃𝐄𝐗
#ISRO ने आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा से PSLV C-60 SpaDeX मिशन को सफलतापूर्वक लॉन्च किया।
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— आकाशवाणी समाचार (@AIRNewsHindi) December 30, 2024
सफल प्रक्षेपण के बाद इसरो के चेयरमैन एस. सोमनाथ ने बताया कि दोनों उपग्रहों के पैनल सफलतापूर्वक तैनात कर दिए गए हैं। अगले कुछ दिनों में एसडीएक्स-01 जिसे चेज़र कहा जाता है और एसडीएक्स-02 जो टारगेट के नाम से जाना जाता है, यह दोनों उपग्रह 20 किलोमीटर की यात्रा करेंगे और फिर मिलन और डॉकिंग प्रक्रिया शुरू होगी जब दोनों उपग्रह करीब आएंगे और अंतरिक्ष में एक साथ डॉक करेंगे।
#WATCH | ISRO Chairman S Somnath announces the successful launch of PSLV-C60 for #SPADExMission in his address and extends his congratulations.@isro | #ISRO | #SPADExMission | #ISRO 🚀|@DrJitendraSingh pic.twitter.com/RjjGyuAII0
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