अल्पसंख्यकों के अधिकारों से जुड़ी एक संस्था ने पाकिस्तान में बच्चों के खिलाफ हिंसा पर गंभीर चिंता व्यक्त की है। वॉयस ऑफ पाकिस्तान माइनॉरिटी के अनुसार, हाल ही में जारी एक राष्ट्रीय तथ्य-पत्र में इस वर्ष के शुरुआती छह महीनों में बच्चों के खिलाफ हिंसा के पांच हजार से अधिक मामले देखे गए हैं।
संस्था ने कहा कि यह तथ्य-पत्र पाकिस्तान के पंजाब, सिंध, बलूचिस्तान और इस्लामाबाद के पुलिस विभागों को सूचना के अधिकार के तहत प्राप्त आंकड़ों पर आधारित है। खैबर पख्तूनख्वा ने आंकड़े उपलब्ध नहीं कराए हैं। पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में ऐसे अपराधों की संख्या सबसे अधिक दर्ज की गई, जबकि सिंध में यौन शोषण, अपहरण और बाल श्रम के मामले अधिक हैं।