बिहार में आज से पूरे राज्य में पोषण पखवाड़ा की शुरुआत की जा रही है, जो सभी आंगनवाड़ी केंद्रों, बाल वाटिका और अन्य स्वास्थ्य संस्थानों में मनाया जाएगा।
बिहार ने बच्चों, किशोरियों, महिलाओं और गर्भवती महिलाओं में कुपोषण से संबंधित समस्याओं को काफी हद तक हल किया है। किचन गार्डन, पोषक अनाज, नियमित निगरानी और अन्य कई हस्तक्षेपों के परिणामस्वरूप काफी सकारात्मक परिणाम प्राप्त हुए हैं।
आकाशवाणी समाचार से बात करते हुए जेंडर बजट विशेषज्ञ बार्ना गांगुली ने कहा कि व्यवस्थित दृष्टिकोण और समर्थक बजट आवंटनों के कारण बिहार ने स्टंटिंग और एनीमिया की चुनौती को प्रभावी ढंग से हल किया है।