बांग्लादेश में भेदभाव के खिलाफ छात्र आंदोलन’ के तहत आज हजारों प्रदर्शनकारियों ने देश के विभिन्न हिस्सों में प्रदर्शन किया। ढाका में विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों के सैकड़ों छात्रों ने हाल ही में आरक्षण कोटा सुधार आंदोलन के दौरान मारे गए लोगों के लिए न्याय की मांग करते हुए जुलूस निकाला। जुलूस में शिक्षक और समाजिक कार्यकर्ता भी शामिल थे।
चट्टोग्राम में लगातार जारी वर्षा के बावजूद, स्टूडेंट्स अगेंस्ट डिस्क्रिमिनेशन द्वारा निकाले गये जुलूस में सैकड़ों छात्र शामिल हुए। वहीं खुलना में छात्रों और पुलिस के बीच झड़प की खबरें हैं। प्रदर्शनकारियों ने ढाका-तांगेल-बंगबंधु ब्रिज राजमार्ग और ढाका-पाबना राजमार्ग को अवरुद्ध कर दिया।
इस बीच, कानून और व्यवस्था की स्थिति बनाए रखने के लिए ढाका, चटगांव, सिलहट, खुलना, बारिसल, रंगपुर और बांग्लादेश के अन्य प्रमुख शहरों में पुलिस, रैपिड एक्शन बटालियन और बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश सहित भारी संख्या में सुरक्षाबलों को तैनात किया गया है।
इससे पहले आरक्षण कोटा सुधार के खिलाफ प्रदर्शन में शामिल छह आंदोलनकारियों ने कहा कि ढाका पुलिस की हिरासत के दौरान उन्हें अपना आंदोलन वापस लेने के लिए मजबूर किया गया था। हिरासत से रिहा होने के एक दिन बाद, इन आंदोलनकारियों ने एक संयुक्त बयान जारी कर आरोप लगाया कि उन्हें सुरक्षा के नाम पर सात दिनों तक जबरन बंदी बनाकर रखा गया था। बयान में कहा गया है कि वे छात्रों और नागरिकों की हत्या के दोषियों को सजा देने और हिरासत में लिए गए निर्दोष लोगों की रिहाई की मांग जारी रखेंगे।
इस बीच, विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों के छात्रों ने आरक्षण कोटा सुधार आंदोलन में मारे गए लोगों को न्याय और गिरफ्तार लोगों की रिहाई की मांग करते हुए आज सुबह ढाका में जुलूस निकाला।
स्थानीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, बांग्लादेश में हाल के विरोध प्रदर्शनों के सिलसिले में पिछले 15 दिनों में दर्ज 674 मामलों में करीब 10 हजार नौ सौ लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनमें छात्र भी शामिल हैं।