सरकार ने कहा है कि पाकिस्तान आधारित सोशल मीडिया हैंडल पुरानी वीडियो फैला रहे हैं। इसमें गलत तरीके से अमृतसर में एक सैन्य बेस पर हमले का आरोप लगाया जा रहा है। पत्र सूचना कार्यालय की फैक्ट चेक यूनिट के अनुसार, जो वीडियो साझा किया जा रहा है, वह 2024 की जंगल की आग का है।
इसने नागरिकों से अपील की है कि वे बिना सत्यापित जानकारी के साझा करने से बचें और सटीक जानकारी के लिए केवल सरकार के आधिकारिक स्रोतों पर ही भरोसा करें।